Saturday, October 2, 2021

आर्थिक विकास और आर्थिक संवृद्धि में अंतर Difference Between Economic Development and Economic Growth | Indian Economy

जब हम किसी देश को उसकी समस्त आर्थिक क्रियाओं के सन्दर्भ में परिभाषित करते हैं तो उसे अर्थव्यवस्था कहते हैं। आर्थिक क्रिया किसी देश के आर्थिक एजेन्टों, व्यापारिक क्षेत्र, घरेलू क्षेत्र तथा सरकार द्वारा दुर्लभ संसाधनों के प्रयोग, वस्तुओं तथा सेवाओं के उपभोग, उत्पादन तथा वितरण से सम्बन्धित हैं। अर्थव्यवस्था की समग्र आर्थिक क्रियाओं का सैद्धान्तिक तथा व्यावहारिक अध्ययन अर्थशास्त्र है। अर्थशास्त्र मुख्य समस्या अर्थव्यवस्था में उपलब्ध सीमित साधनों के इष्टतम आबंटन की है। 


आर्थिक संवृद्धि Economic Growth तथा आर्थिक विकास Economic Development : 


किसी भी अर्थव्यवस्था में हो रही आर्थिक क्रियायें दीर्घकाल में दो प्रकार के परिवर्तनों को जन्म देती है-

(क) समग्र चरों जैसे सकल राष्ट्रीय आय, प्रतिव्यक्ति आय में परिवर्तन जिन्हें नापा जा सकता हैं। ऐसे परिवर्तनों को आर्थिक वृद्धि कहते हैं। 

(ख) इन परिवर्तनों के साथ जब हम अर्थव्यवस्था में गुणात्मक परिवर्तन को भी सम्मिलित कर लेते है तो इसे हम आर्थिक विकास Economic Development कहते है। 


आर्थिक संवृद्धि से अभिप्राय किसी समयावधि में किसी अर्थव्यवस्था में होने वाली वास्तविक आय की वृद्धि से है। सामान्यतया यदि सकल राष्ट्रीय उत्पाद, सकल घरेलू उत्पाद तथा प्रति व्यक्ति आय में वृद्धि हो रही हो तो हम कहते हैं कि आर्थिक संवृद्धि Economic Growth हो रही है। सत्तर के दशक के पूर्व आर्थिक संवृद्धि Economic Growth तथा आर्थिक विकास Economic Development को सामान्यतया समान अर्थ में प्रयोग में लाया जाता था पर बाद में इनमें भेद स्थापित किया गया। आर्थिक संवृद्धि Economic Growth को आर्थिक विकास के एक भाग के रूप में देखा गया। आर्थिक विकास Economic Development की धारणा आर्थिक संवृद्धि Economic Growth की धारणा से अधिक व्यापक है। आर्थिक संवृद्धि उत्पादन की वृद्धि से सम्बन्धित है, जबकि आर्थिक विकास Economic Development सामाजिक, सांस्कृतिक, आर्थिक, गुणात्मक एवं परिमाणात्मक सभी परिवर्तनों से सम्बन्धित है। 


जहाँ आर्थिक संवृद्धि Economic Growth परिमाणात्मक परिवर्तन से सम्बन्धित है, आर्थिक विकास Economic Development परिमाणात्मक तथा गुणात्मक दोनों प्रकार के परिवर्तनों से सम्बन्धित है, जहाँ आर्थिक संवृद्धि Economic Growth वस्तुनिष्ठ है, वहीं आर्थिक विकास Economic Development व्यक्तिनिष्ठ है। आर्थिक विकास Economic Development तभी कहा जायेगा जबकि जीवन की गुणवत्ता (quality of life) में सुधार हो। 


आर्थिक संवृद्धि Economic Growth चाहे कितना भी महत्वपूर्ण क्यों न हो पर यह अपने में साध्य नहीं हो सकता। आर्थिक विकास के लिए आर्थिक संवृद्धि Economic Growth आवश्यक है तथा यह आर्थिक विकास की प्राप्ति में मददगार सिद्ध होगी पर आर्थिक संवृद्धि Economic Growth की तीव्र दर आवश्यक रूप से यह सुनिश्चित नहीं करेगी कि आर्थिक विकास भी ऊँचा है। ऐसा माना जाता है कि प्रतिव्यक्ति आय सूचकांक जीवन की गुणवत्ता को सही रूप में नहीं प्रदर्शित करता है, अतः आर्थिक विकास Economic Development की माप में अनेक चर सम्मिलित किये जाते हैं, जैसे- आर्थिक, राजनैतिक तथा सामाजिक संस्थाओं के स्वरूप में परिवर्तन, शिक्षा तथा साक्षरता दर, जीवन प्रत्याशा, पोषण का स्तर, स्वास्थ्य सेवायें, प्रति व्यक्ति उपभोग वस्तुयें आदि। स्पष्ट है आर्थिक संवृद्धि Economic Growth केवल आर्थिक परिवर्तनों या आर्थिक चरों जिनका परिमाणात्मक नाप सम्भव है से सम्बन्धित है जबकि आर्थिक विकास Economic Development आर्थिक तथा अनार्थिक दोनों चरों के परिवर्तन या उनमें सुधार से सम्बन्धित है। 


आर्थिक संवृद्धि Economic Growth मुख्यतया एक चर (आय) से सम्बन्धित है जबकि आर्थिक विकास जो मूलतः मानव विकास ही है, सभी मानवीय वरणों के विस्तार से सम्बन्धित है, ये आर्थिक, अनार्थिक, सामाजिक, सांस्कृतिक तथा राजनैतिक हो सकते हैं। 


आर्थिक संवृद्धि Economic Growth = केवल परिमाणात्मक परिवर्तन (राष्ट्रीय उत्पाद के आकार में परिवर्तन) (आर्थिक चरों, जिनका परिमाणात्मक माप सम्भव हो में परिवर्तन) 


आर्थिक विकास Economic Development = परिमाणात्मक तथा गुणात्मक परिवर्तन (राष्ट्रीय उत्पाद तथा साथ ही जीवन की गुणवत्ता में सुधार जो राष्ट्रीय कल्याण में वृद्धि से सम्बन्धित है) (आर्थिक तथा अनार्थिक चरों में परिवर्तन) 


महबूब उल हक ने आर्थिक विकास Economic Development को 'गरीबी के विरुद्ध लड़ाई' के रूप में परिभाषित किया, चाहे वह गरीबी किसी रूप की हो। 


आर्थिक विकास Economic Development का प्रमुख लक्ष्य कुपोषण, बीमारी, निरक्षरता, गन्दगी, बेरोजगारी, विषमता आदि को प्रगतिशील रूप से कम करना तथा अन्तिम रूप से समाप्त करना है। आर्थिक विकास Economic Development बहुत अधिक व्यापक अवधारणा है जो अपने में आर्थिक संवृद्धि Economic Growth, सामाजिक क्षेत्रक विकास (Social sector development) तथा समावेशी विकास (Inclusive growth) को सम्मिलित किये हुए है। 


मानव विकास रिपोर्ट 2011 के अनुसार आर्थिक विकास Economic Development मुख्यतया मानव विकास तथा लोगों के ‘वरण के विस्तार' (en- largement of people's choices) वस्तुओं तथा सेवाओं की उपलब्धता में विस्तार से सम्बन्धित है। अलाभप्रद स्थिति के लोगों (disadvantaged people) को आर्थिक विकास Economic Development में केन्द्र स्थान प्राप्त है जिनमें भावी पीढ़ी के लोग भी सम्मिलित हैं जो हमारी वर्तमान क्रियाओं से उत्पन्न जोखिमों से उत्पन्न गम्भीर परिणामों से बहुत अधिक प्रभावित होंगे। 

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